उज्जैन में शिप्रा नदी फिर उफान पर, छोटा ब्रिज डूबा; भारी बारिश से शनिवार को सभी स्कूल बंद

उज्जैन लाइव, उज्जैन, श्रुति घुरैया:

उज्जैन और आसपास के इलाकों में लगातार हो रही बारिश ने एक बार फिर शिप्रा नदी का जलस्तर बढ़ा दिया है। पिछले तीन दिनों में यह दूसरी बार है जब शिप्रा नदी का पानी इतना बढ़ गया कि रामघाट समेत कई प्रमुख घाट जलमग्न हो गए। हालात को देखते हुए प्रशासन ने रामघाट क्षेत्र में नगर निगम, होमगार्ड और एसडीआरएफ की टीमों को तैनात किया है, ताकि श्रद्धालुओं को घाट के पास जाने से रोका जा सके।

रामघाट और आसपास के इलाके जलमग्न

शुक्रवार रात हुई तेज बारिश के बाद शनिवार तड़के शिप्रा नदी में पानी बढ़ना शुरू हुआ। सुबह छह बजे तक नदी का पानी रामघाट पार कर मुंबई वाले की धर्मशाला तक पहुंच गया। उज्जैन-बड़नगर मार्ग का छोटा ब्रिज भी नदी में डूब गया है, जिससे आवाजाही प्रभावित हुई है। श्रद्धालुओं और स्थानीय लोगों की सुरक्षा को देखते हुए प्रशासन ने घाटों पर सतर्कता बढ़ा दी है।

पिछले दो दिन का मौसम असर

बुधवार-गुरुवार की दरमियानी रात हुई बारिश से शिप्रा का जलस्तर पहले ही बढ़ गया था। हालांकि शुक्रवार सुबह बारिश थमने के बाद स्थिति कुछ संभली और नगर निगम ने घाटों की सफाई भी कर दी थी। लेकिन शनिवार सुबह फिर से तेज पानी आने से घाट दोबारा डूब गए।
मौसम विभाग के अनुसार, शुक्रवार को उज्जैन शहर में 2 इंच से अधिक बारिश दर्ज की गई। अब तक इस सीजन में कुल 29 इंच बारिश हो चुकी है। बीती रात शहर का न्यूनतम तापमान 23.5 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया।

आधे घंटे की मूसलधार बारिश

शनिवार सुबह शुरू हुई तेज बारिश लगभग आधे घंटे तक जारी रही, जिसने हालात और बिगाड़ दिए। वेधशाला ने अगले दो दिन तक रुक-रुककर बारिश जारी रहने की संभावना जताई है। गुरुवार-शुक्रवार की रात को हुई तेज बारिश के कारण शहर के बहादुरगंज, एटलस चौराहा, केडी गेट, नीलगंगा, इंदौर गेट और दशहरा मैदान जैसे निचले इलाकों में जलभराव हो गया था।

प्रशासन का बड़ा निर्णय : स्कूलों में अवकाश

लगातार बारिश और नदी के उफान को देखते हुए प्रशासन ने शनिवार को बड़ा फैसला लिया। कलेक्टर रोशन कुमार सिंह ने घोषणा की है कि 6 सितंबर, शनिवार को जिले के सभी शैक्षणिक संस्थानों में अवकाश रहेगा। यह छुट्टी नर्सरी से लेकर कक्षा 12वीं तक के सभी सरकारी और निजी स्कूलों में लागू होगी। इसके साथ ही प्ले स्कूल और आंगनबाड़े भी बंद रहेंगे। हालांकि, यह अवकाश केवल विद्यार्थियों के लिए है, शिक्षक और प्रशासनिक स्टाफ को आवश्यकतानुसार उपस्थित रहना होगा।

स्थिति पर सतत निगरानी

प्रशासन ने कहा है कि शिप्रा नदी और शहर में जलभराव की स्थिति पर लगातार नजर रखी जा रही है। राहत और बचाव दलों को अलर्ट मोड पर रखा गया है। साथ ही, नागरिकों से अपील की गई है कि वे अनावश्यक रूप से नदी किनारे या जलमग्न क्षेत्रों में न जाएं।

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